गांधी भवन के बाहर कांग्रेस की गुटबाजी उजागर

नीमच। भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के 140वें स्थापना दिवस के अवसर पर नीमच के गांधी भवन में आयोजित कार्यक्रम रविवार को उस समय विवादों में घिर गया, जब पार्टी की आंतरिक कलह और गुटबाजी खुलकर सामने आ गई। ब्लॉक अध्यक्षों के पदभार ग्रहण समारोह के दौरान हालात इतने बिगड़े कि कार्यक्रम स्थल के बाहर धक्का-मुक्की, नारेबाजी और आरोप-प्रत्यारोप का माहौल बन गया।
कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष यश घनघोरिया और पूर्व विधायक शिव चौहान के आगमन के साथ ही विवाद की शुरुआत हुई। कांग्रेस जिलाध्यक्ष तरुण बाहेती जब प्रदेश अध्यक्ष को सीधे कार्यक्रम स्थल की ओर ले जाने लगे, तभी युवा कांग्रेस के राहुल अहीर, विधानसभा क्षेत्र अध्यक्ष श्रवण सेन सहित अन्य कार्यकर्ताओं ने उन्हें रोक लिया। कार्यकर्ताओं का कहना था कि प्रदेश अध्यक्ष को पहले उनके द्वारा लगाए गए स्वागत मंच पर आना चाहिए।

इसी बात को लेकर गांधी भवन के बाहर सड़क पर ही बहस शुरू हो गई, जो कुछ ही देर में धक्का-मुक्की में बदल गई। स्थिति इतनी तनावपूर्ण हो गई कि मौके पर अफरा-तफरी मच गई। भारी मशक्कत के बाद प्रदेश अध्यक्ष को कार्यक्रम स्थल के भीतर पहुंचाया गया।
प्रदेश अध्यक्ष के अंदर जाते ही नाराज कार्यकर्ताओं का गुस्सा फूट पड़ा। उन्होंने जिलाध्यक्ष तरुण बाहेती के खिलाफ ‘मुर्दाबाद’ के नारे लगाए और यहां तक आरोप लगाया कि वे “भाजपा के एजेंट” की तरह काम कर रहे हैं। कार्यक्रम समाप्त होने के बाद भी स्वागत मंच को लेकर विवाद शांत नहीं हुआ और कांग्रेसी कार्यकर्ता आपस में उलझते नजर आए।
इस पूरे घटनाक्रम पर युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष यश घनघोरिया ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के स्थापना दिवस जैसे पवित्र अवसर पर भी जो लोग गांधीवादी विचारधारा और अनुशासन का पालन नहीं कर सकते तथा नारेबाजी और हंगामा करते हैं, उन्हें पार्टी का सच्चा कार्यकर्ता नहीं कहा जा सकता।
नीमच की यह घटना कांग्रेस संगठन में व्याप्त अंदरूनी कलह और अनुशासनहीनता की तस्वीर पेश करती है, जिसने स्थापना दिवस जैसे ऐतिहासिक मौके की गरिमा पर सवाल खड़े कर दिए हैं।









